🔥 रहस्यमय काली जल की बारिश से कांपा पूरा शहर — क्या यह प्राचीन मंदिर का श्राप था?

राजस्थान के छोटे से कस्बे में बीते रविवार एक ऐसी घटना हुई जिसने पूरे देश को दहला दिया। लोगों का कहना है कि उन्होंने अपनी आंखों से काले पानी की बारिश देखी — और वह भी सीधे प्राचीन मंदिर की दीवारों पर गिरती हुई। शुरुआत में सबने इसे मज़ाक समझा, लेकिन जब स्थानीय लोगों के मोबाइल वीडियो वायरल हुए तो मामला इतना रहस्यमय बन गया कि वैज्ञानिक भी हैरान रह गए।

कस्बे के बुजुर्गों का दावा है कि यह मंदिर करीब साढ़े पाँच सौ साल पुराना है और इसके भीतर एक अद्भुत मूर्ति विराजमान है। माना जाता है कि मंदिर के भीतर किसी भी प्रकार की अशुद्ध गतिविधि करने पर “प्रकृति स्वयं” दंड देती है। उसी दिन कुछ युवाओं ने मंदिर परिसर में अनुचित हरकतें कीं — और ठीक कुछ मिनटों बाद आसमान से काले रंग का तरल गिरने लगा।

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गवाहों के अनुसार, यह तरल बिल्कुल पानी जैसा था परंतु उसकी गंध अजीब थी और जैसे ही वह जमीन पर गिरता, मिट्टी जलने लगती थी। कई लोगों ने अपने मोबाइल से वीडियो बनाए जिन्हें बाद में सोशल मीडिया पर लाखों बार देखा गया।

सरकारी वैज्ञानिक दल को जांच के लिए बुलाया गया, लेकिन अभी तक किसी वैज्ञानिक स्पष्टीकरण पर सहमति नहीं बन पाई है। कुछ विशेषज्ञ इसे “वायुमंडलीय रासायनिक प्रतिक्रिया” बता रहे हैं, वहीं कुछ लोग इसे अलौकिक घटना मान रहे हैं।

स्थानीय पुजारी पंडित राघव शास्त्री ने कहा — “यह कोई सामान्य बारिश नहीं थी। यह चेतावनी है कि पवित्र स्थानों की मर्यादा तोड़ने का परिणाम कितना भयानक हो सकता है।” दूसरी ओर, पर्यावरण विभाग ने कहा कि यह संभवतः आस-पास की किसी फैक्ट्री से निकला धुआं या गैस हो सकती है जिसने बारिश को दूषित किया।

लेकिन गांव के लोगों का कहना कुछ और ही है। वे मानते हैं कि रात के समय मंदिर की मूर्ति की आंखें चमकीं, और तभी आसमान में काले बादल इकट्ठे हुए। एक महिला ने बताया कि उसने मंदिर के पास से गुजरते हुए एक “अदृश्य छाया” महसूस की जो अचानक गायब हो गई।

सोशल मीडिया पर यह घटना अब “#BlackRainMystery” के नाम से ट्रेंड कर रही है। कुछ लोग इसे भगवान का संदेश बता रहे हैं, तो कुछ इसे सिर्फ कैमरे का भ्रम। लेकिन जो भी सच्चाई हो, कस्बे के लोग आज भी रात होने के बाद मंदिर के पास जाने से डरते हैं।

सरकार ने फिलहाल मंदिर क्षेत्र को अस्थायी रूप से बंद कर दिया है और वैज्ञानिक टीम को नमूनों की जांच के लिए भेजा गया है। परंतु हर कोई एक ही सवाल पूछ रहा है —

“अगर यह विज्ञान था, तो इतना डर क्यों लग रहा है?”

कस्बे की हवा अब भी उस काले जल की गंध से भरी है, और लोग अब भी सोच रहे हैं — यह बारिश थी या किसी प्राचीन श्राप की वापसी।