कहानी: अशोक और पूनम की पुनर्मिलन

कानपुर के एक व्यस्त चौराहे पर, एक चमचमाती Fortuner कार जाम में फंसी हुई थी। उस कार के अंदर बैठे अशोक शर्मा, जो एक समृद्ध businessman थे, अपने ड्राइवर से कहते हैं, “भाई, थोड़ी देर रुक जाओ। इतनी जल्दी क्या है?” वह चौराहे पर खड़ी भीख मांगने वाली महिलाओं को देखते हैं। अशोक एक दयालु व्यक्ति थे, और उन्होंने सोचा कि उन्हें मदद करनी चाहिए। जब उन्होंने अपनी जेब से पैसे निकालकर उन महिलाओं को दिए, तो वह नहीं जानते थे कि उनकी जिंदगी एक अनपेक्षित मोड़ लेने वाली थी।

जैसे ही जाम खुला, अशोक ने ड्राइवर से कहा कि गाड़ी आगे बढ़ाए। लेकिन तभी, एक महिला खड़ी होकर उनकी खिड़की पर हाथ मारने लगी। “बाबूजी, आपने हमें कुछ दिया ही नहीं,” वह चिल्लाई। जब अशोक ने उसकी ओर देखा, तो उसे पहचानने में देर नहीं लगी। वह उसकी पूर्व पत्नी, पूनम थी। तीन साल पहले उनका तलाक हो चुका था, और अशोक को यह देखकर दुख हुआ कि पूनम इस हालात में आ गई थी।

“तुम यहां क्या कर रही हो?” अशोक ने पूछा। पूनम ने बताया कि उसने अपने परिवार के दबाव में तलाक लिया था और अब वह दर-दर की ठोकरें खा रही थी। उसकी आँखों में आँसू थे, और अशोक का दिल पिघल गया। उन्होंने उसे अपनी कार में बैठने के लिए कहा। जब पूनम ने कार में कदम रखा, तो वहां खड़े लोग आश्चर्यचकित थे। उन्हें लगा कि अशोक एक गरीब महिला को किडनैप कर रहा है।

आस-पास की भीड़ बढ़ गई, और लोग यह जानने के लिए एकत्रित हो गए कि अशोक, जो एक अमीर आदमी था, एक गरीब महिला को क्यों ले जा रहा है। पूनम ने कहा, “यह मेरे तलाकशुदा पति हैं। मैं अपनी मर्जी से इनके साथ जा रही हूं।” अशोक ने पूनम को एक होटल में ले जाकर कुछ पैसे दिए ताकि वह नए कपड़े खरीद सके। उन्होंने उसे स्नान करने और तैयार होने के लिए कहा।

जब पूनम नए कपड़े पहनकर आई, तो वह एक नई नवेली दुल्हन की तरह लग रही थी। अशोक को देखकर वह सोचने लगे कि कैसे हालात ने उसे बदल दिया। उन्होंने पूनम से कहा, “मैं दिल्ली जा रहा हूं, लेकिन मैं तुमसे कल मिलूंगा। मुझे अपना पता दो।” पूनम ने अपना पता दिया, और अशोक दिल्ली चले गए।

दिल्ली में, अशोक ने अपने काम निपटाए, लेकिन रात को वह सो नहीं सके। उनकी सोच केवल पूनम के बारे में थी। वहीं, पूनम भी अपनी स्थिति के बारे में सोच रही थी। अगले दिन, जब अशोक वापस कानपुर आया, तो वह पूनम के बताए पते पर गया, लेकिन उसे वहाँ नहीं पाया। उसने सोचा कि वह फिर से उसी चौराहे पर जाएगी जहां वह पहली बार मिली थी।

वह चौराहे पर पहुंचा और पूनम को फिर से पाया। उसने उसे अपनी कार में बैठने को कहा और फिर उसे अपने छोटे से किराए के कमरे में ले गया। कमरे में प्रवेश करते ही अशोक ने देखा कि एक बिस्तर पर उनकी और पूनम की एक पुरानी तस्वीर टंगी हुई थी। यह देखकर वह हैरान रह गए। “तुमने तलाक के बाद भी मेरी तस्वीर क्यों रखी?” उन्होंने पूनम से पूछा।

पूनम की आँखों में आँसू आ गए। “मैंने तुम्हें तलाक दिया था, लेकिन मैं तुमसे कभी अलग नहीं होना चाहती थी। मैं आज भी तुमसे प्यार करती हूं,” उसने कहा। पूनम ने अपनी कहानी बताई कि कैसे उसके परिवार ने उसे तलाक के लिए मजबूर किया। उसके जीजा और भाई ने लालच में आकर उसका घर बर्बाद कर दिया। उसने बताया कि उसके परिवार ने उसे पैसे के लिए इस्तेमाल किया और जब सब कुछ खत्म हो गया, तो उन्होंने उसे अकेला छोड़ दिया।

अशोक ने पूनम की बातों को ध्यान से सुना। उनके दिल में उसके लिए सहानुभूति और प्यार फिर से जाग उठा। उन्होंने कहा, “अगर दिल सच्चा हो, तो हम फिर से एक हो सकते हैं।” लेकिन उन्होंने यह भी कहा कि कानूनी तौर पर वे अलग हो चुके हैं।

अशोक ने कुछ पैसे निकाले और कहा, “यह पैसे रखो। मैं तुम्हारी मदद करता रहूंगा। लेकिन मैं तुम्हें अपने साथ नहीं ले जा सकता।” पूनम ने रोते हुए उनके पैरों को पकड़ लिया। “कृपया, मुझे अपनी माँ से बात करने दो,” उसने कहा। अशोक ने अपनी माँ को फोन किया और कहा, “माँ, पूनम मिल गई है।”

जब अशोक की माँ ने यह सुना, तो वह तुरंत पूनम से बात करने के लिए तैयार हो गई। उन्होंने कहा, “बेटा, पूनम को घर वापस ले आओ।” अशोक ने अपनी माँ की बात मान ली और पूनम को लेकर अपने घर पहुंचे। वहाँ, उसकी माँ ने पूनम की आरती की और दोनों ने एक-दूसरे को गले लगाया।

अशोक ने कहा, “माँ, यह वही पूनम है जिसने मुझसे कोर्ट में 40 लाख का जुर्माना लिया था।” लेकिन उसकी माँ ने कहा, “बेटा, अगर सुबह का भूला शाम को घर लौट आए, तो उसे भूला नहीं कहते।” इस पर अशोक ने पूनम को माफ कर दिया।

इस तरह, अशोक और पूनम ने एक नई जिंदगी की शुरुआत की। उन्होंने अपने रिश्ते को फिर से मजबूत किया और एक-दूसरे के साथ प्यार से रहने लगे। इस कहानी से हमें यह सीख मिलती है कि रिश्तों को कभी भी पैसे और लालच की बलि नहीं चढ़ाना चाहिए। असली अमीरी दिल की होती है, और इंसानियत और माफी ही सबसे बड़ी ताकत है।

अंत में, अशोक और पूनम ने साबित किया कि सच्चे प्यार और नेक इरादों के साथ, टूटे हुए रिश्ते फिर से जुड़ सकते हैं। रिश्तों की असली कीमत हमेशा विश्वास और मोहब्बत में होती है, और यही इस कहानी का सबसे बड़ा संदेश है।